नईदिल्ली, ०९ जुलाई [एजेंसी]। पांच दिनों तक जेल के सलाखों में रहने के बाद, पाकिस्तानी महिला सीमा गुलाम हैदर और भारतीय सचिन मीना को 8 जुलाई को रिहा कर दिया गया। सुबह 8 बजकर 30 मिनट पर दोनों गौतमबुद्ध नगर की लुक्सर जेल से बाहर निकले और एक-दूसरे को गले लगाया। उल्लेखनीय है कि 4 जुलाई को सीमा को अपने चार बच्चों के साथ नेपाल के रास्ते बिना वीजा के अवैध रूप से भारत में प्रवेश करने के आरोप में गिरफ्तार किया था। वहीं, सचिन और उसके पिता को अवैध अप्रवासियों को शरण देने के आरोप में गिरफ्तार किया गया। एक मीडिया रिपोर्ट्स को दिए इंटरव्यू में सीमा ने बताया कि सचिन उसका इस साल मार्च से ही पति बन चुका था। दोनों ने काठमांडू के पशुपतिनाथ मंदिर में शादी भी रचाई। सीमा हैदर ने कहा कि, मैं सचिन के बिना नहीं रह सकती, और क्योंकि वह मेरे पति हैं। मैंने उनके धर्म और संस्कृति को अपना मान लिया है और अपने चार बच्चों के नाम बदल दिए हैं। सचिन के माता-पिता ने भी मुझे स्वीकार कर लिया है और मैंने उनकी सभी सांस्कृतिक प्रथाओं को अपना लिया है। सीमा और सचिन की मुलाकात साल 2019 में कोविड लॉकडाउन के दौरान हुई थी। दोनों की बातचीत पबजी खेलते समय ऑनलाइन हुई और वह घंटों एक-दूसरे से बात करते रहते। लगभग चार महीने के बाद,दोनों ने अपना फोन नबंर एक्सचेंज किया और ऑडियो-वीडियो कॉल पर बातचीत करने लगे। जनवरी 2021 में दोनों ने अपने प्यार का इजहार किया। दंपति फिल्म गदर से काफी प्रेरित थे, जिसकी कहानी एक भारतीय पुरुष और एक पाकिस्तानी महिला के बीच सीमा पार प्रेम कहानी के इर्द-गिर्द घूमती है।सचिन से मिलने के लिए सीमा ने एक ट्रैवल एजेंट के माध्यम से पाकिस्तान से भारतीय वीजा के लिए आवेदन किया था, लेकिन उसे रिजेक्ट कर दिया गया। इसके बाद ही वह अवैध रूप से देश में प्रवेश हुई। इस दौरान दोनों नेपाल में मिले और एक होटल बुक कर सात दिन एक साथ रहे। एक-दूसरे के साथ वक्त बिताया और शादी करने का फैसला किया। सचिन ने कहा कि अगर सीमा वापस पाकिस्तान गई तो उसे जान से मार दिया जाएगा। सीमा हैदर 11 मई को नेपाल के रास्ते अवैध रूप से भारत में दाखिल हुई। 13 मई से, सीमा और उसके चार बच्चे मीना अंबेडकर नगर कॉलोनी, रबूपुरा में एक किराए के कमरे में सचिन के साथ रह रही थी। कानूनी रूप से शादी करने के लिए, जोड़े ने 29 जून को बुलंदशहर में एक वकील से संपर्क किया और कानूनी सलाह मांगी। हालांकि, वकील ने हैदर का पाकिस्तानी पासपोर्ट देखने के बाद पुलिस को सतर्क कर दिया। बाद में 30 जून को दोनों पलवल के रास्ते भागने की कोशिश कर रहे थे, जिसे पुलिस ने पकड़ लिया। इस दौरान दोनों के साथ 4 बच्चे भी थे।