जांजगीर चांपा। जिले में रेत का अवैध उत्खनन व परिवहन को रोक लगाते हुए बीते वर्ष की तुलना में बड़ी कार्रवाई की है। बतौर जुर्माने के तौर पर खनिज विभाग ने 41 लाख 89 हजार से अधिक रकम की वसूली की है। वहीं मौजूदा वित्तीय वर्ष के तीन माह में विभाग ने 57 लाख 48 हजार की
वसूली कर 41 लाख 89 हजार रुपए अधिक का राजस्व विभाग को दिया है। वैसे तो जिस दिन से खनिज विभाग के अधिकारी हेमंत चेरपा ने यहां जिला खनिज अधिकारी का दायित्व संभाला है तब से लेकर खनिज विभाग में एक गतिशीलता आ गई है जहां उनके नेतृत्व में खनिज विभाग के अधिकारी हमेशा सजग कार्य कर विभाग को चूना लगाने वाले लोगों को हमेशा लक्ष्य बनाकर चलते रहे हैं यही कारण है कि समय-समय पर अवैध परिवहन एवं उत्खनन करने वाले लोगों के विरुद्ध अनवरत कार्रवाई की जाती रही है और उनसे बतौर पेनाल्टी की राशि राजस्व के रूप में वसूली कर विभाग को आर्थिक रूप से मजबूत किया जाता रहा है।
इसके पहले जिले में आबाद गति से अवैध खनन एवं परिवहन का कार्य जोरो से चलते रहा है विशेष कर खनिज माफिया एवं रेट माफिया हमेशा विभाग को चूना लगाने के लिए बिना रायल्टी के खनिज संसाधनों का परिवहन कर खनिज विभाग को चूना लगाते रहे हैं किंतु जब से जिला खनिज अधिकारी हेमंत चेरपा यहां पदस्थ हुए हैं तब से इस पर रोक लगने लगा है। वही उनके नेतृत्व में लगातार जब समय-समय पर छापे मार कार्रवाई की जाती रही ।
जो परिवहन ठेकेदार एवं क्रेशर संचालक रेत, गिट्टी का परिवहन का कारोबार धड़ल्ले से चला रहे थे ऐसे लोगों की धर पकड़ के लिए अभियान चलाकर एवं छापेमारी कर आर्थिक रूप से दंडित किया गया है जिससे खनिज विभाग को अधिक रुपए की रॉयल्टी प्राप्त हुई है। बीते साल तीन माह में जहां खनिज विभाग ने 15 लाख रुपए की पेनाल्टी वसूल की थी वहीं इस वित्तीय वर्ष में यह आंकड़ा 41 लाख रुपए जा पहुंचा है।
जांजगीर-चांपा जिले में रेत गिट्टी का कारोबार लगातार बढ़ते क्रम में है। इससे अंदाजा खनिज विभाग के आंकड़ों से लगाया जा सकता है। बीते वर्ष की तुलना में मौजूदा वित्तीय वर्ष में खनिज विभाग ने 41 लाख रुपए अधिक कमाई हैं। आगे भी इस तरह की कार्रवाई की जाती रहेगी ऐसा उनके कार्यप्रणाली से लगता है। बाहर हाल वर्तमान जिला जिला खनिज अधिकारी के नेतृत्व में विभाग आर्थिक रूप से मजबूत होते जा रहा है वहीं अवैध परिवहन तथा उत्खनन करने वाले लोगों के बीच में दहशत घर करने लगी है।