नईदिल्ली, 0३ दिसम्बर ।
संसद का शीतकालीन सत्र जारी है। आज भी संसद के बाहर विपक्ष का जोरदार हंगामा भी देखने को मिला। विपक्ष लगाकार अडानी और कई अन्य मुद्दों पर चर्चा करने की मांग कर रहा है। लेकिन इस बीच विपक्ष खेमे में दरारें एक बार फिर खुलकर सामने आ गई हैं। ताजा जानकारी के अनुसार, जब कांग्रेस पार्टी के साथ अन्य विपक्षी पार्टियां संसद के बाहर अपने मुद्दों को लेकर प्रदर्शन कर रही थी तब कांग्रेस की सहयोगी पार्टियां समाजवादी और टीएमसी ने विरोध प्रदर्शन से किनारा कर लिया। वहीं, कांग्रेस सांसद रेणुका चौधरी ने भाजपा सरकार पर सदन नहीं चलाने का आरोप लगाया है। चौधरी ने कहा, हम सदन चलाने के लिए अपनी तरफ से हरसंभव प्रयास करते हैं क्योंकि जनता हमसे उम्मीद करती है कि हम यहां उनकी आवाज मजबूती से उठाएंगे। उन्होंने आगे कहा, अगर सरकार सदन चलाना चाहती है तो वह चलेगी। अगर वे ऐसा नहीं चाहते हैं तो फिर साजिश क्या है, यह सबको पता है। सदन चलाना हमारी जिम्मेदारी नहीं है, बल्कि जो लोग कुर्सी पर बैठे हैं और पदों पर हैं, वे इसके लिए जिम्मेदार हैं। अगर वो लायक हैं तो चलाएंगे और नालायक हैं तो नहीं चलाएंगे। उत्तर प्रदेश के संभल में हाल ही में हुई हिंसा को लेकर मंगलवार को लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी सहित लगभग पूरे विपक्ष ने सदन से संक्षिप्त वाकआउट किया। जैसे ही सदन में प्रश्नकाल शुरु हुआ, समाजवादी पार्टी (सपा) के नेता अखिलेश यादव अपनी सीट से उठे और इस मुद्दे को उठाते हुए अध्यक्ष ओम बिरला से संभल हिंसा पर बोलने की अनुमति मांगी। यादव को यह कहते हुए सुना गया, यह बहुत गंभीर मामला है। पांच लोगों की जान चली गई है। जैसे ही अध्यक्ष ने कहा कि सदस्य इस मुद्दे को शून्यकाल में उठा सकते हैं, यादव और उनकी पार्टी के साथी विरोध में सदन से बाहर चले गए। इस बीच, कुछ सपा सदस्य नारेबाजी करते हुए सदन के बीचोंबीच आ गए।जब सपा सदस्य सदन के आसन के समीप आकर विरोध प्रदर्शन कर रहे थे, तब डीएमके सदस्य ए राजा को कांग्रेस सहित अन्य विपक्षी सदस्यों से अपनी सीटों से उठकर सपा के विरोध प्रदर्शन में शामिल होने का आग्रह करते देखा गया।
समाजवादी पार्टी के सांसदों के समर्थन में एनसीपी और शिवसेना-यूबीटी के सदस्य खड़े हो गए।कांग्रेस के कुछ सदस्य भी खड़े हो गए और सदन में विपक्ष के नेता राहुल गांधी विरोध के समर्थन में सदन में आ गए।जब विरोध प्रदर्शन चल रहा था, संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने इस मुद्दे पर चर्चा करने के लिए यादव से संपर्क किया।कुछ देर बाद यादव को अपनी पार्टी के सांसदों को जाने का इशारा करते हुए देखा गया और गांधी समेत विपक्षी सदस्यों ने वॉकआउट कर दिया। इसके बाद सांसद चल रहे प्रश्नकाल में भाग लेने के लिए वापस आ गए।