भैयाथान। मनरेगा के कार्यों में फर्जी हाजिरी भरकर बगैर काम किए ही मजदूरी लेने की मंशा रखने वाले लोगों के इरादों पर एक बार पानी फिर गया है। मजदूरों के हक पर डाका डालने का काम ऐसे गिरोह के द्वारा लगातार किया जा रहा है। ये अलग बात है कि मजदूरों के एकजुटता व शिकायत से एक बड़े घपले का पर्दाफाश इस बार हो गया। ग्राम सलका पहुंचे मनरेगा पीओ व तकनीकी सहायक ने मजदूरों के समक्ष 364 फर्जी हाजिरी को शून्य कर दिया है। विकासखंड भैयाथान के ग्राम पंचायत सलका में माझा नाला में बने स्टॉप डेम के मरम्मत कार्य की स्वीकृति प्राप्त हुई है जिसमे 1.50 लाख सामग्री राशि व 17 लाख मिट्टी हटाने हेतु मजदूरी राशि है।
इन दिनों स्टॉप डैम से मिट्टी हटाने का काम मजदूरों द्वारा किया जा रहा है। मजदूरों के शिकायत पर जांच हेतु कार्यक्रम अधिकारी विजय एक्का एवं तकनीकी सहायक प्रफुल्ल चंद पालिया कार्य स्थल पर पहुंचे जहां मजदूरों के द्वारा फर्जी हाजरी जांच किए जाने की मांग की गई। जिस पर कार्यक्रम अधिकारी द्वारा एमआईएस पोर्टल के माध्यम से मजदूरों का जांच किया गया जहां 437 मजदूरों का हाजिरी भरा पाया गया जबकि कार्य में सिर्फ 71 मजदूर ही काम कर रहे थे। मस्टर रोल में हाजिरी तो भर दिया गया था लेकिन तकनीकी सहायक ने हस्ताक्षर नहीं किया था जिसके चलते एमआईएस नही हो सका।मौके पर मौजूद पीओ ने तत्काल 366 फर्जी हाजरी को शून्य करते हुए पोर्टल से उनका नाम हटा दिया। मजदूरों के साथ जांच में पहुंचे पूर्व जिला पंचायत उपाध्यक्ष गिरीश गुप्ता ने मौजूद पंचायत प्रतिनिधि व जांच अधिकारियों के समक्ष कहा कि भाजपा के शासन में फर्जी मास्टर रोल का खेल नहीं चलेगा, हम मजदूरों के साथ खड़े हैं,फर्जी हाजिरी भरकर मजदूरों के हक पर डाका डालने का जो खेला हो रहा है कतई बर्दाश्त योग्य नहीं है। स्टॉप डैम मरम्मत कार्य में 18 मई से 24 मई तक 437 मजदूरों का हाजरी भरा गया था जिसमें 71 मजदूर ही काम पर लगे हुए थे। इस फर्जीवाड़े की शिकायत मजदूरों ने जनप्रतिनिधि सहित जनपद कार्यालय से की थी।जिसकी जांच हेतु पीओ व टीए कार्यस्थल पर गए थे जहां मजदूर जनप्रतिनिधि ग्रामीण जन के समक्ष पूरे मामले की जांच की गई। जहां मस्टर रोल में दर्ज नाम का वाचन हुआ जिसमे 366 व्यक्ति हाजिरी फर्जी निकले। जो काम नहीं किए थे नही कार्यस्थल पर गए थे ऐसे सभी लोगों का नाम पोर्टल से हटाए जाने की मांग मजदूरों ने की। जांच के दौरान पंचनामा में बयान दर्ज कराते हुए ग्राम पंचायत सलका के सरपंच तारामणि सिंह ने बताया कि उक्त कार्य में जारी 12मई से 17मई तक के मस्टर रोल में किया गया हस्ताक्षर सरपंच का नही है । न ही उन्होंने किया है बल्कि मस्टर रोल के हस्ताक्षर को उन्होंने फर्जी बताया है। आगे उन्होंने बताया कि मस्टर रोल में किया गया हस्ताक्षर जनपद सदस्य के पति के द्वारा किया गया है।वही सरपंच का सील भी वही रखा हुआ है जो हस्ताक्षर कर स्वयं ही सील लगा देता है। ग्राम पंचायत सलका के सभी कार्यों पर जनपद सदस्य का पति हक जताता है। और सरपंच पर दबाव बनाते हुए कार्य को छीनकर खुद ही करता है। वहीं ग्राम पंचायत सचिव लक्ष्मी कनेडिया भी सरपंच का बात नहीं सुनते हैं और हमेशा ग्राम पंचायत से नदारत ही रहते हैं।तकनीकी सहायक प्रफुल्ल चंद पालिया ने बताया कि माझा नाला स्टॉप डैम मरम्मत कार्य में फर्जी हाजिरी भरे जाने की शिकायत करते हुए मस्टर रोल में दर्ज फर्जी हाजिरी का एमआईएस न करने की बात कही थी। जब मस्टर रोल जमा होने के बाद मुझ तक पहुंचा तो मैने देखा कि बहुत सारा हाजरी भरा हुआ है जिस कारण मस्टर रोल में हस्ताक्षर नहीं किया। जब जांच हुआ तो पूरे फर्जी हाजरी पकड़े गए। वास्तविक काम करने वाले मजदूरों के हाजिरी भरकर एमआईएस कर दिया गया है।मनरेगा कार्यक्रम अधिकारी विजय एक्का से उनके नंबर पर कई बार कॉल किया गया लेकिन संपर्क न होने के कारण उनका पक्ष नही लिया जा सका।