भोपाल, १२ जनवरी ।
पूर्व परिवहन आरक्षक सौरभ शर्मा, उसके रिश्तेदारों और करीबियों की संपत्ति आयकर विभाग ने जल्द ही अटैच (बंधक) करने की तैयारी की है। इसके लिए विभाग ने ऐसी संपत्तियों की सूची तैयार की है जो सौरभ ने अपने रिश्तेदारों के नाम से खरीदी थी। रिश्तेदारों ने अघोषित आय से जो संपत्ति खरीदी है, उन्हें भी अटैच किया जाएगा। संपत्ति की खरीद-बिक्री पर रोक के लिए जल्द ही विभाग की ओर से संबंधित जिलों के जिला पंजीयकों को पत्र लिखकर ऐसी अचल संपत्तियों की खरीदी-बिक्री पर रोक लगाने के लिए कहा जाएगा। सौरभ शर्मा और उसके करीबी चेतन गौर के भोपाल स्थित आवास पर लोकायुक्त पुलिस ने 18 दिसंबर को छापा मारा था। दोनों जगह मिलाकर पुलिस को लगभग आठ करोड़ रुपये की संपत्ति का पता चला था। सौरभ के करीबी शरद जायसवाल के नाम से भी सौरभ के यहां संपत्तियों के दस्तावेज मिले थे।छापे के अगले दिन भोपाल में ही मेंडोरी गांव के एक प्लांट खड़ी कार में 54 किलो सोना और लगभग 10 करोड़ रुपये नकद मिले थे। यह कार चेतन के नाम थी, जिसे सौरभ और उसके कर्मचारी उपयोग करते थे। आयकर विभाग ने कार को जब्त किया था। इसके बाद सौरभ की मां, चेतन व अन्य रिश्तेदारों से पूछताछ की थी।
सूत्रों का कहना है कि सौरभ ने अपने रिश्तेदारों और करीबियों के नाम बेनामी संपत्तियां बनाई थीं। लोकायुक्त पुलिस में दर्ज एफआइआर के आधार प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने भी भोपाल, ग्वालियर और जबलपुर में सौरभ और रिश्तेदारों के आवास पर छापा मारा था। जबलपुर में सौरभ के रिश्तेदार रोहित तिवारी के यहां ईडी ने तलाशी ली थी।सभी जगह से मिलाकर 23 करोड़ रुपये की अचल संपत्ति और बैंक खातों में जमा 10 करोड़ रुपये की राशि के दस्तावेज जब्त किए थे। ईडी ने शनिवार को भी इस मामले में सौरभ शर्मा के दो करीबियों से पूछताछ की है।आयकर सूत्रों ने बताया कि उन्हें जानकारी मिली है कि जिस कार में सोना व नकदी मिली है।
उसे सौरभ की मौसी का दामाद काफिले के साथ लेकर मेंडोरी गांव तक गया था। काफिले में चार से पांच गाडिय़ां थीं। गाड़ी खड़ी करने के बाद उसकी लगातार निगरानी की जा रही थी।बताया जा रहा है कि जिस प्लाट पर कार खड़ी थी, वह सौरभ की मौसी सविता असवानी की बेटी के नाम पर है। आयकर विभाग की जांच के घेरे में सौरभ की मौसी, उनके बेटे-बेटी, मामा और अन्य रिश्तेदार भी आ गए हैं। विभाग इनसे पूछताछ कर रहा है।