
चरचा कालरी। देश के यशस्वी प्रधानमंत्री की महत्वाकांक्षी योजना स्वच्छ भारत मिशन के पूर्णता क्रियान्वयन हेतु पूर्ण छत्तीसगढ़ सरकार पूरी तरह प्रतिबद्ध है इस हेतु विभिन्न माध्यमों से साफ सफाई के कार्यों को गति जा रही है दी जा रही है वहीं इसके विपरीत कोरिया जिला पंचायत का जिम्मेदार स्वच्छ भारत मिशन विभाग पूरी तरह आंखें बंद कर मनमानी पर उतारू है विभाग के जिम्मेदार अधिकारी सिर्फ कागजों में अपनी उपलब्धि दिख रहे हैं जबकि इसके विपरीत आम नागरिकों को हो रही असुविधाओं के समाधान के प्रति पूरी तरह जानबूझकर लापरवाही बढ़ती जाती है इसका प्रत्यक्ष इसका प्रत्यक्ष प्रमाण नगर पालिका शिवपुर चर्चा क्षेत्र में आयोजित गायत्री महायज्ञ कार्यक्रम है इस महायज्ञ में हजारों की संख्या में लोग भक्त जन रहे हैं भक्ता आ रहे हैं भक्त जनों के प्रसाधन की समस्या के समाधान हेतु यज्ञ समिति के द्वारा जिला पंचायत कोरिया के समक्ष 14 जनवरी को नवंबर को आवेदन प्रस्तुत कर बायो चलित शौचालय की मांग की गई थी पत्र में उल्लेखित किया गया था कि महायज्ञ में काफी संख्या में लोग आएंगे यज्ञस्थल श्रमवीर स्टेडियम में पर्याप्त शौचालय नहीं है अत: बायोकलित शौचालय की व्यवस्था की जाए यज्ञ समिति के सदस्य जब जिला पंचायत के स्वच्छ भारत मिशन कार्यालय के प्रमुख से संपर्क किया तो उन्होंने कहा कि ट्रैक्टर लेकर आ जाइए फिर शौचालय ले जाइए ट्रैक्टर लेकर समिति के सदस्य स्वच्छ भारत मिशन कार्यालय के प्रमुख से मिले तो उन्होंने एक कर्मचारी को बुलाकर जिला पंचायत कार्यालय के पीछे रखें चलित शौचालय दिखाने की बात कही कर्मचारी के साथ जाकर समिति के सदस्यों ने देखा कि शौचालय के एक तरफ के दोनों चाको की हवा निकली हुई है टायर पूरी तरह बैठा हुआ था ऐसा प्रतीत होता था हो रहा था कि कई महीनो से शौचालय को वहां से हिलाया नहीं गया है चलित शौचालय में जंगली पत्तों की बेल लगी हुईथी यह देखकर समिति के सदस्य निराश हुए और कार्यालय में जाकर वहां उपस्थित जिम्मेदार महिला अधिकारी को पूरी स्थिति से अवगत कारण तो उन्होंने कहा कि हमारे पास फंड की कमी है जो लोग आते हैं वह लोग बनवा कर ले जाते हैं। यह सोच का विषय है कि सार्वजनिक कार्यक्रमों के प्रति ,स्वच्छ भारत मिशन के जिम्मेदार अधिकारी क्यों उदासीन है ,क्या आम नागरिकों को हो रही असुविधा के समाधान की जिम्मेदारी उनकी नहीं है यह विभाग आखिर किसके लिए बना है, इसके अतिरिक्त शासकीय चलित शौचालय को आम नागरिकों से बनवाने की बात कहना कहां तक उचित है यदि बायो चलित शौचालय खराब था तो उसे समय पूर्व बनवाया क्यों नहीं गया समिति के सदस्यों को शौचालय उपलब्ध न होने की जानकारी भी नहीं दी गई, जिम्मेदार अधिकारियों को क्यों नहीं पता रहता की शौचालय गाड़ी के टायर बेकार है क्षेत्र वासियों ने जिले के संवेदनशील कलेक्टर महोदया से अपेक्षा की है कि स्वच्छ भारत मिशन के प्रति लापरवाही बरतने वाले व बेतुका कथन देने वाले अधिकारियों की कार्यशैली के प्रति संज्ञान लें।