स्टार्टअप ने समूहों को दिया पनपने का मौका
कोरबा। केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार के द्वारा लोगों के आर्थिक स्वावलंबन को लेकर शुरू किये गए स्टार्टअप के काफी अच्छे परिणाम सामने आ रहे हैं। विभिन्न क्षेत्रों में समूहों ने हाथ आजमाने के साथ सफलता प्राप्त की। कोरबा जिले में महिलाओं के कई समूह ऐसे काम से जुड़े हैं। होली त्योहार के मद्देनजर महिला समूहों ने हर्बल रंग-गुलाल तैयार करने पर सक्रियता दिखाई है। विभिन्न क्षेत्रों में इसकी अच्छी डिमांड है।
रंगों का त्योहार होली नजदीक हो और पलाश के फूलों की बात ना हो, तो ऐसा संभव नहीं है। हिन्दू धर्म में अनादिकाल से प्रत्येक ऋतु में ऋतु के अनुसार, उत्सव मनाने की परंपरा चली आ रही है. इसी तरह बसंत ऋतु में बसंत उत्सव को हम सभी होली के रूप मे मनाते है। बसंत ऋतु में प्रकृति का वातावरण सुहावना हो जाता है। इस समय न तो ज्यादा गर्मी होती है और न ही ज्यादा ठंड. पुराने समय में अलग-अलग रंगों को उड़ाकर बसंत उत्सव मनाया जाता था। तभी से होली पर रंगों से खेलने की परंपरा शुरू हुई है। पुराने समय में होली के लिए फूलों से रंग बनाए जाते थे। फूलों से बने रंग त्वचा के लिए लाभदायक होते हैं। रंग बनाने के लिए उपयोग किए जाने वाले फूल में सबसे विशेष महत्व रखता है, पलाश जिसके फूल वसंत ऋतु के आगमन का संकेत देते हैं। जिले में कटघोरा, धंवईपुर, ढोढ़ीपारा, मुकुंदपुर, बुंदेली सहित कई गांव में महिला समूहों ने हर्बल से बने रंग गुलाल निर्माण की तरफ काम शुरू किया है। पिछले वर्षों में इन्हें जो कमाई हुई उससे उनका उत्साह दोगुना हुआ है।
आयुर्वेद में पलाश महत्वपूर्ण
आयुर्वेद विशेषज्ञ डॉक्टर नागेंद्र नारायण शर्मा ने बताया कि पलाश के फूल और पत्तियों का आयुर्वेद में विशेष महत्व बताया गया है. अनेक रोगों में इसका अलग-अलग प्रकार से इस्तेमाल किया जाता है। लाल रंग की इस खूबसूरत फूल से घर पर ही रंग या गुलाल बनाकर होली खेलने पुरानी परंपरा रही है. वर्तमान में लोग बाजार से केमिकल युक्त गुलाल का इस्तेमाल करते हैं। घर पर ही आने वाली होली के लिए पलाश के फूलों से हर्बल गुलाल या रंग बना सकते हैं। इस गुलाल आपकी त्वचा को अलग चमक मिलेगी और साथ ही वातावरण सुगंधित उठेगा।
पलाश प्रसंस्करण पर इस तरह से होता है काम
लाल रंग के खूबसूरत पालश के फूल को इक_ा करने के बाद उसे सुख ले और उसके बाद जब वह सुख जाए तो उसे उबल ले.मात्रा का भी ख्याल रखें की 2 लीटर पानी के लिए काम 200 ग्राम पलाश के फूल का इस्तेमाल करें। पानी में पलाश के फूल को उबालने के बाद आपको नजर आएगा कि पानी का रंग केसरिया हो जाएगा। अब इसका इस्तेमालहोली में रंग के रूप में कर सकते हैं. साथ ही आप पलाश के फूल से घर पर गुलाल भी बना सकते हैं सबसे पहले पलाश के फूल को सुख ले और बारीक पीस ले। सूखे हुए फूल को पीसने के बाद पाउडर को कपड़े से छान कर इसका गुलाल के रूप में प्रयोग किया जा सकता है।