बरेली। अधूरे पुल से गिरकर कार सवार तीन युवकों की मृत्यु से करीब 20 मिनट पहले भी उनकी घर पर बात हुई थी। भांजे ने उन्हें फोन किया तो युवकों ने बताया था कि घर का रास्ता केवल 20 मिनट दूरी पर ही दिखा रहा है। जल्द ही उनके पास पहुंच जाएंगे, लेकिन स्वजन का क्या पता था कि वह जल्दी नहीं आएंगे बल्कि हमेशा के लिए ही छोडक़र चले जाएंगे।
घटना वाले दिन मृतकों नितिन व अजीत के चचेरे भाई राकेश ने बताया था कि उनकी बात रात करीब 11 बजे हुई थी। उनकी बताई बात के आधार पर माना जा रहा था कि घटना शनिवार देर रात ही हुई थी, लेकिन मंगलवार को अजीत व नितिन के चचेरे भांजे अंशु ने बताया कि दोनों से उनकी बात शनिवार तडक़े तक हुई थी। आखिरी बार हुई बात में अजीत ने बताया था कि वह आ रहे हैं।दातागंज पार कर चुके हैं वहां से केवल 20 मिनट की ही दूरी दिखा रहा है। जल्द ही वह आकर सभी से मिलेंगे। इसके बाद स्वजन भी निश्चिंत हो गए और उनके आने का इंतजार करने लगे, लेकिन उन्हें क्या पता था कि तीनों लोग 20 मिनट की बात कहकर हमेशा के लिए जा चुके थे। अंशु ने बताया कि जब एक घंटे से भी अधिक बीत गया तो उन्होंने फिर से फोन कर जानकारी ली, लेकिन उनका फोन नहीं उठा। दोनों मामा से संपर्क करना चाहा लेकिन कोई जवाब नहीं मिल रहा था। इसी कश्मकश में सुबह के नौ बज चुके थे। अंशु ने फिर से फोन किया तो फोन किसी एक अंजान व्यक्ति ने उठाया और बताया कि पुल से गिरने की वजह से तीन लोगों की मृत्यु हो गई है। जिसका फोन है वह भी व्यक्ति भी मृत हैं। यह खबर सुने ही पूरे परिवार में मातम छा गया। आनन फानन में कुछ लोग घटना स्थल को दौड़े तो कुछ थाने की ओर…।