कोरबा। वनमंडल कोरबा के कुदमुरा रेंज अतंर्गत कुदमुरा गांव के जंगल में डेरा जमाकर ग्रामीणों के लिए खतरा बनें 8 हाथियों में से 7 ने बीती रात रेंज की सरहद को पार कर धरमजयगढ़ का रूख कर लिया है। जबकि एक दंतैल हाथी अभी भी क्षेत्र में विचरण कर रहा है। वन विभाग के अधिकारियों के मुताबिक बढ़ी संख्या में हाथियों के अन्यत्र जाने से ग्रामीणों ने राहत की सांस ली है। वहीं विभाग को भी थोड़ा चैन आया है। क्षेत्र में बड़ी संख्या में हाथियों की मौजूदगी से गामीणों को लगातार खतरा बना हुआ था। वन विभाग भी सावधानी बरतते हुए निगरानी में लगा हुआ था। बावजूद इसके अनहोनी घटना की संभावना बनी रहती थी। ज्ञात रहे धरमजयंगढ़ क्षेत्र से 31 हाथियों का दल पखवाड़े भर पहले पहुंचा था। हाथियों का दल लगातार क्षेत्र में विचरण कर रहा था। तीन दिन पूर्व दल मेें से 23 हाथी अलग हुए और धरमजयंगढ़ की ओर चले गए थे। लेकिन 8 हाथी कुदमुरा जंगल के कक्ष क्रमांक 1140 ने विचरण कर रहे थे। 8 हाथियों में से 7 हाथी बीती रात मूवमेट किए और जंगल जंगल ही होते हुए कुदमुरा रेंज की सीमा को पार कर धरमजयंगढ़ वन मंडल के जगंल पहुंच गए । जहां 7 हाथियों ने धरमजयंगढ़ का रूख कर लिया वहीं 3 हाथी रेंज के लबंद गांव में पहुंच गए है। इन हाथियों की निगरानी विभाग द्वारा की जा रही है। उधर करतला रेंज के लबेद गांव में भी एक दंतैल पिछले तीन दिनों से डेरा जमाए हुए है। हाथी के जंगल में बने रहने के कारण किसी प्रकार की कोई नुकसानी नही हो पा रही है। लेकिन संभावना है कि कभी भी दंतैल हाथी आबादी वाले क्षेत्र मेें पहुंचकर उत्पात मचा सकता है।