यरुशलम। गाजा में भूख विकराल होती जा रही है और इजरायली सेना भूखों की भीड़ पर गोलियां बरसा रही है। रविवार को खाद्य सामग्री के इंतजार में खड़ी भीड़ पर इजरायली सैनिकों ने फिर फायरिंग की जिसमें 67 लोगों के मारे जाने की सूचना है। करीब दो महीने में इस तरह की घटनाओं में करीब एक हजार लोग मारे जा चुके हैं। इस बीच इजरायली सेना ने गाजा के मध्य भाग के लोगों को इलाका खाली करने के लिए कहा है। कहा कि वह गाजा में अपना अभियान और तेज करेगी। उत्तरी गाजा में इजरायली सैनिकों ने तब फायरिंग की जब हजारों लोग राहत सामग्री लेकर आने वाले संयुक्त राष्ट्र के ट्रकों का इंतजार कर रहे थे। इस सामग्री में खाद्यान्न, पेयजल, दवाइयां और अन्य जरूरी वस्तुएं थीं। इजरायली सेना ने कहा है कि हंगामे और हिंसा की आशंका से बतौर चेतावनी केवल हवा में गोलियां चलाई गईं, किसी को निशाना नहीं बनाया गया। इस दौरान भगदड़ होने से कुछ लोग मारे गए होंगे। जबकि नजदीकी अस्पताल में गोली लगे 67 लोगों के शव लाए गए हैं और दर्जनों घायल पहुंचे हैं। विदित हो कि शनिवार को दो स्थानों पर खाद्य सामग्री लेने जा रहे लोगों पर फायरिंग में 42 लोग मारे गए थे।इस बीच गाजा के मध्य में स्थित दीर अल-बलाह के लोगों से इजरायली सेना ने इलाका छोडक़र जाने के लिए कहा है। इलाके में इजरायली सेना का अभियान तेज होगा। रविवार को इजरायल के हवाई हमले में यहां के तीन मकान ध्वस्त हो गए। इस हमले में मारे गए लोगों की संख्या अभी पता नहीं चली है। विदित हो कि सात अक्टूबर, 2023 से जारी युद्ध में गाजा में 58 हजार लोग मारे जा चुके हैं और 90 प्रतिशत से ज्यादा आबादी विस्थापित हो चुकी है। हजारों शव बमबारी से ध्वस्त मकानों और भवनों के मलबे में दबे हुए हैं।
सूत्रों के अनुसार इजरायली सेना को सुराग लगा है कि हमास ने इजरायली बंधकों दीर अल-बलाह में रखा हुआ है, इसलिए उन्हें छुड़वाने के लिए इलाका खाली करवाना होना और सैन्य अभियान तेज करना होगा। हमास के कब्जे में अभी करीब 50 बंधक हैं जिनमें से 20 के ही जीवित होने की संभावना है। बंधकों के परिवारीजनों ने अपने प्रियजनों की रिहाई और कुशलता को लेकर सेना से सवाल किए हैं। कहा है कि सैन्य अभियान तेज होने से बंधकों के जीवन को खतरा बढ़ेगा।