
रांची। उत्पाद एवं मद्य निषेध विभाग को झारखंड सरकार की नई उत्पाद नीति ‘झारखंड उत्पाद (मदिरा की खुदरा बिक्री हेतु दुकानों की बंदोबस्ती एवं संचालन) नियमावली 2025’ के अंतर्गत एक सितंबर 2025 से 31 मार्च 2026 तक बंपर राजस्व हासिल करने की उम्मीद है। इस नियमावली के तहत राज्य में निजी हाथों से शराब की खुदरा बिक्री होगी। निजी हाथों से शराब की खुदरा बिक्री से उत्पाद विभाग को बड़ी उम्मीदें है। यही वजह है कि वर्तमान वित्तीय वर्ष के सिर्फ सात महीने में ही विभाग को 2402 करोड़ रुपये का राजस्व लक्ष्य हासिल करने की उम्मीद है।
इसे देखते हुए विभाग ने 13 जुलाई (रविवार) को नया व संशोधित राजस्व लक्ष्य घोषित किया है। इसके तहत चालू वित्तीय वर्ष में पहले से घोषित राजस्व लक्ष्य जहां 2985 करोड़ रुपये था, उस लक्ष्य को संशोधित करते हुए विभाग ने उसे 3585 करोड़ रुपये कर दिया है।
चालू वित्तीय वर्ष में 2985 करोड़ का राजस्व लक्ष्य पुरानी उत्पाद नीति के आधार पर रखा गया था। पुरानी उत्पाद नीति ‘झारखंड उत्पाद (झारखंड राज्य बिवरेजेज कारपोरेशन लिमिटेड के माध्यम से खुदरा उत्पाद दुकानों का संचालन) नियमावली 2022’ से 31 अगस्त 2025 तक राज्य में खुदरा शराब दुकानें संचालित होंगी।