रामानुजगंज। छत्तीसगढ़-झारखंड बॉर्डर पर स्थित कन्हर नदी की धार धीरे-धीरे एक ओर जहां पतली होती जा रही है, वहीं दूसरी ओर पिछले 15 दिन से लगातार दर्जनों लोगों द्वारा नदी में जहरीला रासायनिक पदार्थ मिलाकर मछलियां मारी जा रही है। कन्हर नदी के पानी का उपयोग नगर के लोग पीने में भी करते हैं। ऐसे में यह रसायन मिला पानी लोगों की जान के लिए भी खतरा बन सकता है। कन्हर नदी में ग्राम पुरानडीह में स्थित इंटक वेल से लेकर मुक्ति धाम के नीचे तक मछली मारने के लिए दर्जनों लोगों के द्वारा जहरीला रासायनिक पदार्थ पोटिया प्लस को आटे में मिलाकर नदी में डाल दिया जाता है। इसके बाद मछलियां मरनी शुरू हो जातीं हैं। मछलियों के मरने के बाद उन्हें चुनकर लोग ले जाते हैं। यह सिलसिला विगत 15 दिन से चल रहा है। कभी भी यह खतरनाक स्वरूप ले सकता है एवं दर्जनों लोगों की जान आफत में पड़ सकती है। रासायनिक जहरीला पदार्थ की महक काफी तेज होती है। इस कारण इसके नजदीक जाना भी मुश्किल होता है परंतु लोग अपनी जान की बाजी लगाकर मछली मार कर ले जा रहे हैं।
कन्हर नदी में यदि आप घूमने जाएं और अचानक से हजारों की संख्या में मछलियां मरी दिखें तो आश्चर्य में मत पडि़एगा, रासायनिक जहरीला खाद्य पदार्थ डालकर इन्हें मार दिया जा रहा है, फिर बाद में इन्हें मार्केट में बेचा जा रहा है। जिस प्रकार से प्रतिदिन नदी में रासायनिक पदार्थ डालकर मछलियां मारी जा रहीं हंै। इससे कभी भी सैकड़ों लोगों के साथ कोई बड़ा हादसा होने से इनकार नहीं किया जा सकता है, क्योंकि अधिकांश नगरवासी पीने के लिए इसी पानी का उपयोग करते हैं।
लोगों द्वारा जहरीला रासायनिक पदार्थ नदी में डालकर मछलियां मारने की सूचना जैसे ही नगर पालिका अध्यक्ष रमन अग्रवाल को मिली तो उनके निर्देश पर नगर पालिका के विनोद केसरी सहित अन्य कर्मचारी मौके पर पहुंचे। वहीं पुलिस भी मौके पर पहुंची एवं पानी में जहरीला पदार्थ डालकर मछली मार रहे लोगों को जमकर फटकार लगाई।
नगर पालिका और पुलिस के अमले को देख मछली मार रहे लोग वहां से भाग खड़े हुए। सीएमओ सुधीर कुमार ने कहा कि इस मामले से उच्च अधिकारियों को अवगत कराते हुए सख्त कदम उठाएंगे तथा ऐसे लोगों के खिलाफ एफआईआर भी दर्ज कराई जाएगी। सीएमओ ने कहा कि यदि कभी भी कोई ऐसा करता है तो तत्काल सूचना दें, कार्रवाई की जाएगी।