
मुंबई 21 नवंबर। महाराष्ट्र की राज्य सरकार ने हाल में एक नया आदेश जारी किया है। इस आदेश की चर्चा खूब की जा रही है। इन सरकारी आदेशों के अनुसार, प्रदेश के अधिकारियों से कहा गया है कि अगर कोई भी विधायक या सांसद उनके दफ्तर में आता है, तो सबसे पहले उससे सम्मानपूर्वक बात करनी होगी। आदेश में यह भी कहा गया है कि विधायक या सांसदों के दफ्तर में आते ही अधिकारियों को अपनी कुर्सी से खड़ा होना चाहिए और सम्मान के साथ उनकी बातों को सुनना चाहिए। बातचीत के दौरान विनम्रता का परिचय देना चाहिए। दरअसल, राज्य के मुख्य सचिव राजेश कुमार की ओर से जारी इस आदेश में कहा गया कि सरकारी परिपरत्र (जीआर) में कहा गया है कि निर्वाचित प्रतिनिधियों को उचित सम्मान देना प्रशासन को अधिक जवाबदेह और विश्वसनीय बनाता है। इसके साथ ही इन निर्देशों का पालन नहीं करने वाले अधिकारियों के खिलाफ एक्शन की चेतावनी भी दी गई है।
इससे पहले हाल में ही सत्तारूढ़ दलों सहित कुछ निर्वाचित प्रतिनिधियों ने अधिकारियों की ओर से उनसे मिलने या उनकी चिंताओं या समस्याओं का हल करने के लिए समय ना देने पर नाराजगी व्यक्त की थी। जीआर की प्रस्तावना में सरकार ने कहा कि वह सुशासन, पारदर्शिता और दक्षता को सर्वोच्च प्राथमिकता मानती है। नए दिशानिर्देशों में कहा गया कि अगर कोई विधायक या सांसद किसी अधिकारी के दफ्तर में आता है, तो अधिकारियों को अपने सीट से खड़ा होना होगा और उसके साथ शिष्टाचार से पेश आना होगा।





















