राजपुर। बलरामपुर जिले के कुसमी थाना क्षेत्र के ग्राम लरिमा निवासी दंपती व बेटी समेत आठ लोगों की शनिवार की रात सडक़ दुर्घटना में मौत से गांव में मातम पसरा हुआ है। रविवार को एक साथ गांव के सात लोगों की अर्थी उठी तो सभी की आंखें नम हो गई। कुछ घण्टे पहले ही सभी हंसी खुशी रवाना हुए थे। एक साथ सात लोगों का शव देखकर पूरा गांव रो पड़ा। अंतिम संस्कार में सांसद चिंतामणि महाराज, सामरी विधायक उद्धेश्वरी पैकरा के अलावा पुलिस व प्रशासनिक अधिकारी भी शामिल हुए। सांसद व विधायक ने मृतकों के प्रति श्रद्धांजलि अर्पित कर स्वजन को ढाढ़स बंधाया। पीडि़त स्वजन को हर संभव मदद का आश्वासन भी दिया।
कुसमी के ग्राम लरिमा निवासी संजय मुंडा शिक्षिका पत्नी चंद्रावती व पांच साल की बेटी कृति के साथ सूरजपुर में किराए के मकान में रहता था। वह पत्नी व बेटी के साथ गांव में दिवाली मनाने आया था। वह गांव में आयोजित गोवर्धन पूजा में शामिल हुआ था। शनिवार शाम पत्नी व बेटी के साथ सूरजपुर जाने किराए पर स्कार्पियो लिया था। चालक मुकेश दास के साथ संजय मुंडा , पत्नी चंद्रावती व बेटी कृति के अलावा गांव के ही उदयनाथ , मंगल मुंडा, भूपेंद्र मुंडा, अवनीत उर्फ बालेश्वर सूरजपुर जा रहे थे।गांव के लोगों को रात में ही वापस भी आना था। राजपुर से पहले लडुवा स्थित डबरी में स्कार्पियो घुस गई थी। दुर्घटना में स्कार्पियो सवार सात लोगों की मौत हो गई थी।चालक ने भी दम तोड़ दिया था।विधायक उद्धेश्वरी पैकरा के साथ भाजपा नेताओं ने भी अस्पताल पहुंचकर घटना की जानकारी ली।
जिस डबरी में हादसा हुआ, वह सडक़ किनारे खेत में है। सडक़ से वह दूर में है। डबरी के आसपास के हिस्से में झाडिय़ों का घेरा है। सुरक्षा के लिए कोई प्रबंध भी नहीं है। तेज गति को हादसे का कारण बताया जा रहा है। घटना का कोई प्रत्यक्षदर्शी नहीं होने के कारण हादसे को लेकर स्पष्ट जानकारी सामने नहीं आ सकी है। स्कार्पियो का पीछे का हिस्सा डबरी में डूबा था। इंजिन का हिस्सा ऊपर की ओर था।घटना के दूसरे दिन भी डबरी को असुरक्षित छोड़ दिया गया है। सुरक्षा के नाम पर एक रेडियम पट्टी लगा दी गई है।
घटना में चालक को गंभीर चोट आई थी। शेष सभी स्कार्पियो में ही फंसे हुए थे। स्कार्पियो का गेट लाक हो गया था।स्कार्पियो में पानी भर गया था। चिकित्सकों ने बताया कि पानी में डूबने से दम घुटने के कारण सभी की मौत हुई है। घटना में मृत दंपती व उनकी बेटी को छोडऩे जाने के नाम पर शेष सभी लोग सवार हुए थे और इस दुखद हादसे का शिकार हो गए। मृतकों के परिवार में मातम पसरा हुआ है। दुर्घटना रात लगभग आठ बजे हुई। घायल चालक को आसपास के लोगों ने कुछ देर बाद ही शीशा तोडक़र बाहर निकाल अस्पताल पहुंचा दिया था। शेष घायलों को निकालने में एक घण्टे से भी अधिक का समय लग गया।इसके लिए एक्सीवेटर मंगाया गया। रात के अंधेरे में डबरी में पानी अधिक होने के कारण सुरक्षा को भी ध्यान में रखा गया था। जब शेष सभी को बाहर निकाल अस्पताल पहुंचाया गया तब तक रात के 09.15 बज चुके थे और सभी की मौत हो चुकी थी। सरगुजा सांसद चिंतामणि महाराज तथा सामरी क्षेत्र की विधायक उद्धेश्वरी पैकरा ने दुखद हादसे पर शोक जताया है। सांसद और विधायक रविवार सुबह से ही सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र राजपुर में थे। मृतकों के शवों का पोस्टमार्टम राजपुर में हुआ। अलग-अलग वाहन से मृतकों के शवों को गृहग्राम भेजा गया। लरिमा गांव में एक साथ सात लोगों का शव देखकर सभी की आंखें नम हो गई। सांसद और विधायक के साथ गांव के लोगों ने मृतकों को नम आंखों से अंतिम विदाई दी। एक दिन पहले ही सभी हंसी खुशी गांव से निकले थे। कुछ घण्टे बाद ही सभी का शव गांव पहुंचा तो मातम पसर गया। बलरामपुर जिले में हुए स्कार्पियो हादसे में मृतकों की संख्या आठ हो गई है। दुर्घटना में स्कार्पियो चालक के साथ एक किशोर ने भी दम तोड़ दिया। मृतकों में दंपती व उनकी मासूम बेटी शामिल है।सभी कुसमी के लरिमा गांव के रहने वाले थे। रविवार को एक साथ सभी मृतकों का शव गांव पहुंचा तो लोगों की आंखें नम हो गई। गमगीन माहौल में नम आंखों से सभी को अंतिम विदाई दी गई। कुसमी के ग्राम लरिमा निवासी चंद्रवती मुंडा(33) सूरजपुर के बडक़ापारा स्थित प्राथमिक पाठशाला में शिक्षिका के पद पर पदस्थ थी। दिवाली अवकाश पर वह अपने घर आई थी। शनिवार रात को किराए की स्कार्पियो में पति संजय मुंडा(35) व छह वर्षीय बेटी कृति को साथ लेकर वह सूरजपुर जाने के लिए निकली थी। करकली निवासी चालक मुकेश दास(26)स्कार्पियो चला रहा था। शिक्षिका के परिवार को छोडऩे जाने के नाम पर गांव का ही मंगल मुंडा(21),उदयनाथ (27),भूपेंद्र मुंडा(18) भी स्कार्पियो में सवार हो गए थे। इसी गांव के अवनीत उर्फ बालेश्वर प्रजापति(17) को नानी के घर कुसमी जाना था। वह भी स्कार्पियो में सवार हो गया था। चालक सहित आठ लोग स्कार्पियो से सूरजपुर जा रहे थे। शंकरगढ में संजय मुंडा ने अपने रिश्तेदार के यहां रुककर मुलाकात भी की थी। चाय पीकर सभी हंसी- खुशी वहां से रवाना हुए थे। शंकरगढ और राजपुर के बीच ग्राम लडुआ के समीप तेज गति की स्कार्पियो पर से चालक का नियंत्रण हट गया था। स्कार्पियो सीधे सडक़ किनारे लगभग 18 से 20 फीट गहरे डबरी में गिर गई थी। डबरी में लगभग 10 फीट पानी भरा हुआ था। किसी तरह सामने की खिडक़ी को तोडक़र चालक को बाहर निकाल लिया गया था। लगभग एक घण्टे बाद स्कार्पियो में से छह लोगों को बाहर निकालकर अस्पताल पहुंचाया गया था। यहां जांच के बाद चिकित्सकों ने सभी को मृत घोषित कर दिया। इधर घायल चालक द्वारा एक अन्य व्यक्ति के स्कार्पियो में सवार होने की जानकारी देने पर रात को ही अंबिकापुर से गोताखोरों को बुलाया गया। देर रात एक बजे डबरी से अवनीत उर्फ बालेश्वर को बाहर निकाला गया। अस्पताल में जांच के बाद उसे मृत घोषित कर दिया। घायल चालक को अंबिकापुर ले जाते समय रास्ते में ही उसकी भी मौत हो गई।