प्रतापगढ़। रामपुर की तरह भैंस यहां भी खोई थी, लेकिन गनीमत रही कि उसे खोजने की चिंता पुलिस को नहीं करनी पड़ी। भैंस ने यह मामला स्वयं ही सुलझा लिया। झूरी के दो बैल ‘हीरा और मोती’ की कहानी तो आपने सुनीं होगी, लेकिन कुंडा में भैंस की कहानी इससे भी ज्यादा रोचक है। एक भैंस के लिए दो पक्ष भिड़े थे। एक-दूसरे को चोर ठहरा रहे थे। मामला महेशगंज थाने पहुंचा तो पुलिस भी इस विवाद में घनचक्कर हो गई। पुलिस ने दोनों पक्षों को थाने से बाहर कर दिया। पुलिस ने भैंस को खूंटे से छोड़ा तो महज चंद मिनट में ही विवाद सुलझ गया।