कोलकाता। बंगाल में विपक्षी भाजपा के विधायकों ने बुधवार को मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की ‘फर्जी हिंदुत्व’ वाली टिप्पणी के विरोध में राज्य विधानसभा से बहिर्गमन किया। भाजपा के मुख्य सचेतक शंकर घोष के नेतृत्व में भाजपा के लगभग 25 विधायकों ने वॉकआउट के बाद विधानसभा के मुख्य द्वार के बाहर भी प्रदर्शन किया। हाल में नेता प्रतिपक्ष सुवेंदु अधिकारी समेत पांच भाजपा विधायकों के बजट सत्र से निलंबन के खिलाफ इस दिन विरोध स्वरूप सभी भाजपा विधायक काले कपड़े में विधानसभा पहुंचे थे।इस दौरान सिलीगुड़ी से विधायक शंकर घोष ने बड़ा दावा किया कि काले कपड़े पहने एक बाहरी व्यक्ति – जो संभवत: पुलिस की विशेष शाखा से संबंधित है या तृणमूल कांग्रेस का ‘गुंडा’ है – दीर्घा में मौजूद था। उन्होंने तृणमूल व राज्य सरकार की ओर इशारा करते हुए कहा कि सुवेंदु अधिकारी की हत्या करने की साजिश रची जा रही है। घोष ने कहा कि दीर्घा में मौजूद अजनबी व्यक्ति ने भी काले कपड़े पहन रखे थे और वह खुद को भाजपा सदस्य बता रहा था। उन्होंने कहा कि जब उसे बाहरी व्यक्ति के रूप में पहचाना गया तो अध्यक्ष को उसके बारे में सूचित किया गया, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की गई. वह अजनबी व्यक्ति भागने में सफल हो गया। उन्होंने कहा कि कौन गारंटी दे सकता है कि उसे किसी ऐसे व्यक्ति ने नहीं भेजा है, जिसका हमें नुकसान पहुंचाने का कोई गुप्त मंसूबा हो। घोष ने यह भी दावा किया कि दीर्घा में मौजूद अजनबी व्यक्ति से सुरक्षा को भी खतरा हो सकता है, क्योंकि मुख्यमंत्री सदन में मौजूद थीं। वहीं, विधानसभा के बाहर भाजपा विधायकों के विरोध प्रदर्शन में पहुंचे नेता प्रतिपक्ष सुवेंदु अधिकारी भी इसपर चिंता जताते हुए इसकी जांच की मांग की।वहीं, इस घटना को लेकर आइएसएफ विधायक नौशाद सिद्दीकी ने भी विधानसभा की सुरक्षा व्यवस्था को लेकर सवाल उठाया। उन्होंने कहा कि एक अनजान व्यक्ति विधानसभा परिसर के अंदर वीडियो बना रहा था और उसके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई। उन्होंने कहा कि विधानसभा के सदस्य भी फोन का प्रयोग करने से कतराते हैं, लेकिन एक अनजान व्यक्ति बेखौफ होकर वीडियो बनाता रहा, यह वाकई में चिंता का विषय है।