
नईदिल्ली, १० अप्रैल । कांग्रेस ने मंगलवार को गृह मंत्री अमित शाह के उस बयान पर घेरा, जिसमें उन्होंने कहा है कि चीन भारत की एक इंच जमीन पर भी कब्जा नहीं कर सकता। कांग्रेस ने मोदी सरकार पर चीन को क्लीन चिट देने का आरोप लगाते हुए कहा कि कांग्रेस अगर सरकार में आएगी तो चीन का अतिक्रमण पुख्ता तरीके से रोकेगी। कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने मोदी सरकार पर वार करते हुए कहा कि हर बार जब भाजपा चीन को क्लीन चिट देती है, तो सत्तारूढ़ दल भारत के लिए चीन के अवैध अतिक्रमण से निपटना कठिन बना देता है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने अपने घोषणापत्र में भारतीय जमीन पर कब्जे और चीन द्वारा उत्पन्न खतरे को स्पष्ट रूप से स्वीकार किया है और देश की सुरक्षा को मजबूत करने के लिए एक स्पष्ट योजना बनाई है। दरअसल, गृह मंत्री शाह ने दावा करते हुए कहा है कि नरेंद्र मोदी की सरकार में चीन एक इंच जमीन का अतिक्रमण नहीं कर सकता। साथ ही उन्होंने दावा किया है कि लोग यह कभी नहीं भूलेंगे कि कैसे पूर्व प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू ने 1962 के चीनी आक्रमण के दौरान असम और अरुणाचल प्रदेश को बाय-बाय कहा था। शाह के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए पूर्व केंद्रीय मंत्री जयराम रमेश ने कहा, 19 जून 2020 को चीन को लेकर हुई सर्वदलीय बैठक में प्रधानमंत्री मोदी ने घोषणा की थी कि एक भी चीनी सैनिक भारतीय क्षेत्र में नहीं आया था। प्रधानमंत्री के झूठ का इस्तेमाल चीनियों ने पूरी दुनिया में भारतीय क्षेत्र पर उनके अतिक्रमण को नकारने के लिए किया था। उन्होंने कहा कि अब एकमात्र व्यक्ति जो झूठ बोलने और तथ्यों को गलत साबित करने में प्रधानमंत्री को टक्कर दे सकता है वो गृह मंत्री अमित शाह हैं। शाह ने भी चीन को क्लीन चिट दे दी है। शाह ने दावा किया है कि मोदी सरकार में चीन भारत की एक इंच भी जमीन का अतिक्रमण नहीं कर सकता। कांग्रेस सांसद जयराम रमेश ने कहा, चीन ने 2,000 वर्ग किलोमीटर भारतीय जमीन पर कब्जा कर लिया है। चीन ने लद्दाख में 65 गश्त प्वाइंट में से 26 पर कब्जा कर लिया है। चीन ने अरुणाचल प्रदेश के अंदर 50-60 किलोमीटर अंदर पूरे गांव बना लिए हैं। कांग्रेस नेता ने कहा कि सैटेलाइट इमेज से इस तथ्य की पुष्टि की गई है और इसे भाजपा सांसद तापिर गाओ ने भी लोकसभा में उठाया है। ये वे तथ्य हैं जिनसे प्रधानमंत्री और गृह मंत्री इनकार कर रहे हैं। रमेश ने कहा कि यह प्रधानमंत्री की ‘लाल आंख’ की सच्चाई है और कायरतापूर्ण बयान है जो चीन को क्लीन चिट देकर हमारे सैनिकों और शहीदों का अपमान कर रहे हैं।